
इटावा / अपर जिलाधिकारी (वि0/रा0) ने बताया कि जिला आपदा प्रबंधन प्राधिकरण की अनूठी पहल भूकंप, आकाशीय बिजली, बाढ़ एवं सर्पदंश से बचाव के उपाय आपदाओं से होने वाली जनहानि पर अंकुश लगाने के उद्देश्य से इस बारकोड को तैयार कराया गया है, जिसे किसी भी मोबाइल में स्कैन करते ही आपदाओं, सर्पदंश से बचाव की जानकारी तुरंत मिलेगी बार कोड को सोशल मीडिया के माध्यम से जनमानस तक पहुंचाया जा रहा है।
उन्होंने बताया कि जानकारियों के अभाव एवं समय पर उपचार के न मिलने पर अनगिनत लोग अपनी जान गंवा देते है। इस बारकोड के माध्यम से आपदाओं से निपटने की जानकारी मिल सकेगी, इसके अलावा आपदा प्रबंधन प्राधिकरण द्वारा जनअभियान चलाकर भी लोगो को जागरूक किया जा रहा है। जिला आपदा विशेषज्ञ अवनीश दुबे ने बताया कि सांप काटने की जगह को साफ व सूखे कपड़े से ढ़क दें, उन्हें शांत और स्थिर रहने के लिये कहें, घाव को तुरन्त साबुन या गर्म पानी से साफ करें, सांप के काटने पर पीड़ित को नजदीकी अस्पताल ले जायें। सर्पदंश के तंत्रिका तंत्र जैसे मस्तिष्क पर असर होना, बेहोशी आना, नींद आना, पलकों का भारी होना, सांस लेने में तकलीफ होना, डंक लगने के कारण मसूड़ों से रक्त आना आदि लक्षण हैं। उन्होंने बताया कि बिजली गिरने के दौरान खिड़की की कांच, टिन की छत, गीले सामान, लोहे के हैंडलों से दूर रहें, बिजली के दौरान यदि पानी में हैं, तो तुरन्त बाहर निकल जायें, सफर के दौरान अपने वाहन में शीशे चढ़ा कर बैठे रहें, मजबूत छत वाले वाहन में रहें, खुली छत वाले वाहन की सवारी न करें।

Author: मोहम्मद इरफ़ान
Journalist



