रब कहता है हुसैनी फ़ौज का सरदार है, ये अली के कारखाने की बनी तलवार है
इटावा। कर्बला में वफादारी की मिसाल पेश करने वाले मौला अब्बास की पैदाइश की खुशी में दरगाह हज़रत अब्बास महेरे पर अली अब्बास सलमान और इमामबाड़ा घटिया अज़मत अली पर सैयद अली साबिर की ओर से महफ़िल का आयोजन किया गया जिसमे राहत हुसैन रिज़वी की ओर से अलम की ज़ियारत बरामद की गई।
महफ़िल में कलाम पेश करते हुए सलीम रज़ा ने कहा जहरा के लाडलों के अलावा किसी ने और, दरिया को प्यास प्यास को दरिया नही किया।तसलीम रज़ा ने कहा दीन की सदाक़त भी खत्म हो गई होती, जिंदगी बाकी है कर्बला के सदके में।तनवीर हसन ने कहा रब कहता है हुसैनी फ़ौज का सरदार है, ये अली के कारखाने की बनी तलवार है।नदीम अहमद एडवोकेट ने कहा ये पासे वफादारी था हैदर के खून का, अब्बास ने हुसैन को तन्हा नहीं छोड़ा। अख्तर अब्बास मोंटू ने कहा ये पहला वाक्या ही नही आखिरी भी है, दरिया को एक प्यासे ने पानी पिला दिया। अली अब्बास सलमान ने कहा उम्र भर जिसने खुदा से नहीं मांगा कुछ भी, उसने अब्बास के आने की दुआ मांगी है। सफीर हैदर ने कहा जो है शब्बीर की कुव्वत अली को नाज है जिसपर, वफ़ा पढ़े जिसका कलमा उसे अब्बास कहते हैं। आसिफ रिज़वी अश्शू ने कहा पानी की बात क्या है उठा लाएगा फुरात, मिल जाये जरी को अगर इजाजत हुसैन की।
महफ़िल की अध्यक्षता करते हुए मौलाना अनवारुल हसन ज़ैदी इमामे जुमा इटावा ने कहा मौला अली ने जिस तमन्ना के साथ खुदा से अब्बास को मांगा था उस अब्बास ने कर्बला में वफ़ा की मिसाल पेश की और अपने दोनों हाथ कटवा दिए। जब तक मौला अब्बास इमाम हुसैन के साथ रहे दुश्मन आंख उठाकर भी नही देख सके। मौला अब्बास जैसा वफादार दुनिया मे दूसरा कोई नही है। महफ़िल में आबिद रज़ा, गाजी, अर्श, तालिब रज़ा ने भी कलाम पेश किए। महफ़िल में हाजी कमर अब्बास नकवी, राहत अक़ील, शावेज़ नक़वी, मो. मियां, हसन अब्बास, दबीरुल हसन, इबाद रिज़वी, तहसीन रज़ा, मुशीर हैदर, अब्बास हैदर राजा, अयाज हुसैन, नफीसुल जैदी, शादाब हसन, राहिल सगीर, ताबिश रिज़वी, मो. जुनैद, शब्बर अक़ील, राशिद, जहूर नक़वी, आले रज़ा नक़वी, परवेज़ हसनैन, मो. आकिल, रज़ी हैदर, आसिम रिजवी, मिन्हाज, नक़ी रज़ा सहित बड़ी संख्या में लोगों ने भाग लिया।
Author: मोहम्मद इरफ़ान
Journalist